सिविल सेवा के बाद व्यवसाय, शैक्षिक इंस्टिट्यूट के माध्यम से पहचान बनाने वाले मेड़ता के डॉ. अशोक चौधरी ने प्रदेश स्तरीय अभिनव राजस्थान पार्टी का गठन करके राजनीति के क्षेत्र में धर्म नगरी का सितारा चमकाया।

मेड़ता सिटी के पास आकेली 'ए' गांव में एक साधारण किसान परिवार में अशोक चौधरी का जन्म हुआ। पिता बक्साराम चौधरी व माता सुगन कंवर आज भी कृषि कार्य करते हैं।

चौधरी की प्रारंभिक शिक्षा गांव के ही उच्च प्राथमिक विद्यालय में हुई और उसके बाद मेड़ता सिटी के राजकीय उच्च प्राथमिक विद्यालय से दसवीं बोर्ड परीक्षा(1980) और हायर सेकेंडरी बोर्ड परीक्षा उतीर्ण की।

कॉलेज शिक्षा के लिए जोधपुर का लाचू कॉलेज चुना और वहां से बीएससी प्रथम वर्ष करने के बाद इनका पीएमटी में वर्ष 1983 में चयन हो गया।

मेडिकल कॉलेज का सफर बीकानेर से शुरू हुआ और अजमेर में पूरा हुआ। एमबीबीएस की डिग्री लेने के बाद आईएएस बनने का जुनून चढ़ा तो वर्ष 1993 में चयन हो गया। आईएएस (अलाइड) में इंडियन पोस्टल सर्विस अहमदाबाद और कोटा में 10 वर्ष की सेवाएं देने के बाद वर्ष 2003 में त्याग पत्र दे दिया।

अपनी कर्मभूमि मेड़ता क्षेत्र को बनाते हुए मेड़ता में रेडिमेंट गारमेंट्स का व्यवसाय प्रारंभ किया, साथ ही सामाजिक क्षेत्र में कार्य करने लगे।

वर्ष 2005 से 2007 के बीच संपूर्ण नागौर जिले में मृत्यु-भोज के खिलाफ आंदोलन चलाया, जिससे प्रभावित होकर परिवारों को करोड़ों रुपए की बचत हुई।

इसी दौरान वर्ष 2006 में बीजेपी की सदस्यता ली, 3 वर्ष तक प्रदेश कार्यसमिति के सदस्य रहे।

साथ ही मेड़ता में मीठा पानी लाने तथा रेल सेवा में सुधार के लिए लंबी कानूनी लड़ाई लड़ी। वर्ष 2010 में नगर पालिका में भाजपा बोर्ड बनाने में भी महत्वपूर्ण भूमिका अदा की।

इससे पूर्व वर्ष 2008 में तेजा गायन को जाट समाज में पुनः स्थापित करने और लोक देवता तेजाजी के जीवन को नई पीढ़ी तक पहुंचाने का बीड़ा उठाया जो अप्रत्याशित रूप से सफल रहा।

इसी वर्ष अभिनव राजस्थान अभियान शुरू किया और कई वर्षों तक राजस्थान के कोने-कोने में संपर्क, भ्रमण और अध्ययन किया।

इस दौरान सूचना के अधिकार से आमजन को परिचित करवाने और इसके माध्यम से सरकारी योजनाओं को समझाने का काम प्रदेश स्तर पर किया।

वर्ष 2018 में अभिनव राजस्थान पार्टी के नाम से नए संगठन का निर्माण किया, जो राजस्थान में असली लोकतंत्र और विकास को समर्पित है।

विधानसभा चुनाव में पार्टी ने 61 स्थानों पर उम्मीदवार खड़े किए लेकिन खास सफलता नहीं मिली।

कोचिंग संस्थान के माध्यम से सैंकड़ों युवाओं का सरकारी सेवा में चयन करवाया, विद्यार्थियों को जयपुर, जोधपुर और अजमेर की बजाय मेड़ता सत्र में यह सुविधा मिली।

वर्ष 2007 और 2010 में "रोचक राजस्थान" के नाम से सामान्य ज्ञान की पुस्तक का लेखन भी किया।

वर्तमान में अभिनव राजस्थान पार्टी के संगठन को मजबूत करने के साथ रेडीमेड गारमेंट के व्यवसाय और कोचिंग संस्थान का संचालन कर रहे हैं।

साभार - राजस्थान पत्रिका